“जैन धर्म के २४वें तीर्थंकर भगवान महावीर का जन्मोत्सव धूम धाम से मनाया गया”
प्रयागराज । सत्य अहिंसा के प्रेरक जैन धर्म के २४वें तीर्थंकर की २६२३ जन्म जयंती नगर में हर्षोल्लास के साथ मनाया गया । इस अवसर पर प्रातः प्रभात फेरी एवं 8:30 बजे मंदिर जी के शिखर पर ध्वजारोहण हुआ । विशाल शोभायात्रा प्रातः 10 बजे जीरो रोड स्थित दिगंबर जैन पंचायती मंदिर, प्रयाग के तत्वाधान में शुरू हुई जिसमे अनेक बैंड बाजे, ऐरावत हाथी, झाकियां आदि समलित रहीं ।
रथ में महावीर की प्रतिमा विराजमान थीं । रथ में मुकुट माला आदि इंद्रों के वेश में केसरिया वस्त्रों में चवर चला रहें थे । सौधर्म इंद्र के वेश में श्री अजय जैन भगवान की प्रतिमा को लिए हुए थे और सारथी के वेश में अमन जैन सुशोभित रहे ।
रथयात्रा में अनेकों श्रद्धालु केसरिया वस्त्र पहने “जियो और जीनों दो” , “अहिंसा परमो धर्म” आदि नारे लगा संदेश दे रहे थे । डीजे की धुन पर बच्चे महिलाएं एवं पुरुष भक्ति नृत्य कर रहे थे। शोभायात्रा के मार्ग में भक्तों ने जगह जगह आरती एवं पुष्प वृष्टि की और पानी, फल आदि वितरण किया ।
रथयात्रा में महापौर श्री गणेश केसरवानी, नीरज त्रिपाठी, डॉ. बी बी अग्रवाल, पूर्व विधायक उज्ज्वल रमण, हर्षवर्धन वाजपाई, जीरो रोड़ सभासद नेम यादव, अखिल भारतीय उद्योग व्यापार मण्डल के ज़िलाअध्यक्ष लालू मित्तल आदि अनेक विद्वान गण सम्मलित रहे। रथयात्रा में सैकड़ों की संख्या में बंद पंछियों को मुक्त किया गया। जैन विद्यालय के बच्चों का बैंड आकर्षण का केंद्र रहा। रथयात्रा की समाप्ति पंडित नितिन शास्त्री एवं सुनील जैन के निर्देशन में विधि विधान से १०८ कलश से भगवान का अभिषेक हुआ जिसमें प्रथम कलश अभिषेक जैन ने किया। सामूहिक आरती की गई और दोपहर को जैन महिला मण्डल के तत्वाधान में बालक वर्धमान का पालना झूलाए गए एवं बधाई गीत गाए गए।
सायंकाल सांस्कृतिक कार्यक्रम जैन विद्यालय के बच्चों द्वारा किया गए जिसमें रंगारंग कार्यक्रम, नाटिका मंचन हुआ। जैन महिला मण्डल द्वारा प्रस्तुत भगवान महावीर जन्मोत्सव पर आधारित नाटिका आकर्षण का केंद्र रहा । भीषण गर्मी को देखते हुए परिंदों के दाना पानी के लिए प्याले वितरित किए गए एवं अपील की गई जो सही मायनों में मानव धर्म का आधार है और पुण्य का काम है।